Loan EMI Bounce: कई बार जीवन में ऐसी स्थिति आ जाती है जब किसी व्यक्ति को इमरजेंसी में लोन की जरूरत पड़ जाती है। लेकिन अगर पहले से लिया गया लोन समय पर नहीं चुकाया गया हो, तो नए लोन के लिए आवेदन करने को लेकर अक्सर सवाल उठते हैं। क्या बिना पहले का लोन चुकाए दूसरा लोन मिल सकता है? आइए जानते हैं इस सवाल का पूरा जवाब।
क्या डिफॉल्ट के बाद भी मिल सकता है लोन?
अगर आप अपने पहले लोन की EMI चुकाने में असफल रहे हैं और बैंक ने आपको डिफॉल्टर घोषित कर दिया है, तो आगे चलकर नए लोन के लिए परेशानी हो सकती है। हालांकि, कुछ बैंक ऐसे होते हैं जो डिफॉल्टर ग्राहकों को भी लोन प्रदान करते हैं, लेकिन इसके लिए कुछ जरूरी शर्तें पूरी करनी होती हैं।
डिफॉल्ट के बाद लोन पाने के उपाय
अगर आप लोन डिफॉल्टर हैं लेकिन नए लोन के लिए आवेदन करना चाहते हैं, तो इन उपायों को अपनाकर आपको बैंक से लोन मिलने की संभावना बढ़ सकती है,
- क्रेडिट स्कोर सुधारें
- सबसे पहले अपना क्रेडिट स्कोर (CIBIL Score) ठीक करें।
- लोन डिफॉल्ट के बाद क्रेडिट स्कोर में गिरावट आती है, जिससे नया लोन मिलना मुश्किल हो जाता है।
- बेहतर होगा कि नए लोन के लिए आवेदन करने से पहले पहले वाले कर्ज को चुकता करें और अपना क्रेडिट स्कोर ठीक कर लें।
- लोन टाइप का ध्यान रखें
- अगर आपने पहले कोई बड़ा लोन डिफॉल्ट किया है, तो बैंक से दोबारा बड़ा लोन पाना मुश्किल हो सकता है।
- ऐसे में आप छोटे अमाउंट के लोन के लिए आवेदन कर सकते हैं, जिसे बैंक मंजूर कर सकता है।
- आय (Income) को स्थिर करें
- लोन स्वीकृत करने से पहले बैंक आपकी वर्तमान आय का आकलन करता है।
- आपकी नौकरी स्थायी होनी चाहिए और आय के स्रोत में निरंतरता होनी जरूरी है।
- बैंक आपकी जॉब सिक्योरिटी और स्थिर वेतन को देखते हुए लोन देने का निर्णय लेता है।
- डिफॉल्ट के कारणों को स्पष्ट करें
- बैंक यह भी देखता है कि आपने पिछला लोन किन कारणों से डिफॉल्ट किया है।
- यदि आपने किसी वैध कारण, जैसे स्वास्थ्य समस्या या आकस्मिक खर्च के कारण लोन चुकाने में देरी की थी, तो बैंक आपके मामले को सहानुभूति के साथ देख सकता है।
निष्कर्ष
पहला लोन चुकाए बिना दूसरा लोन पाना आसान नहीं है, लेकिन असंभव भी नहीं है। यदि आप अपने क्रेडिट स्कोर को सुधार लें, आय को स्थिर कर लें और पिछला कर्ज चुकाने का प्रयास करें, तो बैंक आपकी नई लोन आवेदन को मंजूरी दे सकता है। छोटे अमाउंट के लोन से शुरुआत करना इस स्थिति में अधिक लाभदायक हो सकता है।
आर्थिक कठिनाइयों के समय में अपने वित्तीय प्रबंधन को बेहतर करना ही आगे बढ़ने का सही तरीका है।